बिरज में होली खेलत नन्दलाल
होली खेलत नन्दलाल,
बिरज में होली खेलत नन्दलाल॥
ग्वाल बाल संग रास रचावै,
नटखट नन्द गोपाल॥
होली खेलत नन्दलाल,
बिरज में होली खेलत नन्दलाल॥
बाजत ढ़ोलक झांझ मंजीरा,
गावत सब मिल आज कबीरा।
नाचत दे दे ताल,
बिरज में होली खेलत नन्दलाल॥
होली खेलत नन्दलाल,
बिरज में होली खेलत नन्दलाल॥
भर भर मारे रंग पिचकारी,
रंग गए ब्रज के नर-नारी।
उड़त अबीर गुलाल,
बिरज में होली खेलत नन्दलाल॥
होली खेलत नन्दलाल,
बिरज में होली खेलत नन्दलाल॥
ऐसी होली खेली कन्हाई,
जमुना तट पर धूम मचाई।
रास रचाये नन्दलाल,
बिरज में होली खेलत नन्दलाल॥
होली खेलत नन्दलाल,
बिरज में होली खेलत नन्दलाल॥
Biraj Mein Holi Khelat Nandlal
Mohammed Rafi
Krishna Bhajan
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